जीवन जीने की कला सिखाता है योग –डॉ. धन सिंह रावत।

गबर सिंह भंडारी

]श्रीनगर गढ़वाल – प्रदेश के सभी मेडिकल कॉलेजों में अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के 4 दिन पहले से ही सिखाया जाने लगा है योग। 21 जून को होने वाले अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की तैयारियां अभी से प्रारंभ हो चुकी हैं इसी के तहत आज श्रीनगर मेडिकल कॉलेज में योगाचार्य गणपति उर्फ गणेश भट्ट के दिशा निर्देशन में मेडिकल कॉलेज के प्रोफेसर,डॉक्टर,छात्र एवं छात्राओं ने योग के गुर सीखे। उत्तराखंड सरकार के स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत की पहल पर उत्तराखंड के सभी मेडिकल कॉलेजों में अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर पूर्वाभ्यास के लिए योग को सिखाने की पहल की गई जिसमें श्रीनगर मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य चंद्र मोहन सिंह रावत के निर्देशानुसार मेडिकल कॉलेज के प्रोफेसर ,डॉक्टर छात्र एवं छात्राओं ने एक साथ योग की कई विधाएँ सीरवी , स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. धन सिंह रावत का कहना है कि योग शारीरिक ,मानसिक शुद्धि के साथ-साथ सकारात्मक विचारधारा का मार्ग भी दिखाता है इसीलिए 21 जून को होने वाले अंतरराष्ट्रीय योग दिवस से पहले ही मेडिकल कॉलेजों में पूर्वाभ्यास की पहल की गई है मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य चंद्र मोहन सिंह रावत ने मेडिकल कॉलेज के समस्त टीचिंग स्टाफ ,डॉक्टर, छात्र एवं छात्राओं को प्रातः योग की कक्षाओं में आने के लिए निमंत्रण भेजा है जिस कारण से ही आज प्रातः मेडिकल कॉलेज के कई डॉक्टरों के साथ मेडिकल की पढ़ाई करने वाले लगभग 200 छात्र छात्राओं ने एक साथ हेमवती नंदन बहुगुणा गढ़वाल केंद्रीय विश्वविद्यालय के पूर्व योग अनुदेशक गणपति भट्ट उर्फ गणेश भट्ट के दिशा निर्देशन में योग की विधाओं को जाना और सीखा योगाचार्य गणेश भट्ट ने ओम का उच्चारण करने के बाद खड़े होने वाले बैठकर करने वाले और लेट कर करने वाले आसनों के बारे में बताया और सिखाया जिनमे खडे होने वालों में वृक्षासन ,साइड बेंडिंग चक्रासन,पाद हस्तासन , बैठ कर करने वाले आसनों में पद्मासन, वज्रासन ,पश्चिमोत्तानासन, भद्रासन एवं लेट कर करने वाले आसनों में शलभासन ,भुजंगासन आदि है योगाचार्य गणेश भट्ट का कहना है कि आजकल के आपाधापी के युग में योग को जिसने जीवन का हिस्सा नहीं बनाया वह स्वस्थ नहीं रह सकता उन्होंने सभी से अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस से सीख लेते हुए प्रतिदिन योग सीखने एवं करने की योजना बनाने के लिए कहा योगाचार्य गणेश भट्ट ने सभी आसनों के बारे में बारीकियों से लाभ और हानि के बारे में बताया।